Tujhse Naraz Nahi Zindagi
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
जीने के लिये सोचा ही नहीं, दर्द संभालने होंगे..
मुस्कुराए तो, मुस्कुराने के कर्ज उतारने होंगे..
मुस्कुराए कभी तो लगता है, जैसे होंठों पे कर्ज रखा हो..
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
जिंदगी तेरे गम ने हमें रिश्ते नये समझाये..
मिले जो हमें, धूप में मिले, छांव के ठंडे साये..
ला ला ला, ला ला ला ला……………
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
आज अगर भर आयी हैं, बूंदे बरस जाएगी..
कल क्या पता इन के लिये, आंखे तरस जाएगी..
जाने कब गुम हुआ, कहां खोया, एक आंसू बचा के रखा था..
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
जीने के लिये सोचा ही नहीं, दर्द संभालने होंगे..
मुस्कुराए तो, मुस्कुराने के कर्ज उतारने होंगे..
मुस्कुराए कभी तो लगता है, जैसे होंठों पे कर्ज रखा हो..
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
जिंदगी तेरे गम ने हमें रिश्ते नये समझाये..
मिले जो हमें, धूप में मिले, छांव के ठंडे साये..
ला ला ला, ला ला ला ला……………
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
आज अगर भर आयी हैं, बूंदे बरस जाएगी..
कल क्या पता इन के लिये, आंखे तरस जाएगी..
जाने कब गुम हुआ, कहां खोया, एक आंसू बचा के रखा था..
तुझसे नाराज नहीं जिंदगी हैरान हूं मैं,
हैरान हूं मैं..
तेरे मासूम सवालों से परेशान हूं मैं,
परेशान हूं मैं..
इस गाने को लिखा है गुलजार ने, इसके दो वर्जन हैं, पहला अनूप घोषाल की आवाज में और दूसरा लता मंगेशकर की आवाज में।
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